डिप्रेशन जैसी गंभीर बीमारी को करें सौ प्रतिशत तक ठीक: करें योग एवं मेडिटेशन / Cure serious illness like depression

डिप्रेशन जैसी गंभीर बीमारी को करें सौ प्रतिशत तक ठीक

Cure serious illness like depression up to hundred percent

तनाव और डिप्रेशन आज के समय की बहुत बड़ी समस्या है जिससे बच्चे और युवा जूझ रहे हैं। बच्चों में और युवाओं में डिप्रेशन सबसे अधिक देखने को मिलता है इसके कई कारण हो सकते हैं जैसे पढाई का दवाब, लड़ाई झगडे, किसी से व्यक्तिगत संबंधों का ख़त्म हो जाता एवं कई अन्य कारण कुछ भी हो सकते हैं। लेकिन इन कारणों के परिणाम स्वरूप तनाव और डिप्रेशन मिलता है जो एक बीमारी है। कई बार व्यक्ति तनाव में रहता है और उसे समझ ही नहीं आता कि तनाव का कारण क्या है और धीरे-धीरे यह तनाव डिप्रेशन का रूप ले लेता है। डिप्रेशन के कई नुकसान है इसलिए डिप्रेशन को दूर करना बहुत ही जरुरी है। 

ऐसा विश्लेषण किया गया है कि जो लोग निजी कंपनियों में कार्य करते हैं उनमें से कम से कम 45% लोग डिप्रेशन और तनाव का शिकार होते हैं और इसका कारण है अत्यधिक कार्य का दवाब। 


एक रिपोर्ट में यह पुष्टि की गई है कि दुनिया का हर पाँचवा व्यक्ति आज के समय में डिप्रेशन का शिकार है। मतलब दुनिया के कम से कम 45 प्रतिशत से ज्यादा व्यक्ति इसका शिकार हैं। यह एक बहुत ही बड़ा अनुपात है। डिप्रेशन की वजह अनगिनत हैं इनके बारे में भी आज हम जानेंगे। 

निद्रा का नाश बड़ी समस्या : 

सबसे शुरुआती लक्षणों में निद्रा का नाश बहुतायत पाया जाता है | अक्सर कहते सुना होगा कि पता नहीं क्या हो गया आज-कल अच्छे से नींद नहीं आ रही सुबह तीन बजे सोया , सुबह पाँच बजे सोया या पूरी रात नींद ही नहीं आई , सिर भरी- भरी रहता है या फिर पूरी – पूरी रात अजीब – अजीब से सपने आते रहते हैं यह भी डिप्रेशन के ही कारण होता व्यक्ति का मानसिक संतुलन ठीक नहीं रहता आदि विभिन्न समस्याएँ आपकी नींद से जुड़ी डिप्रेशन का ही संकेत हैं ऐसी स्थिति को नजरंदाज करते - करते सैकड़ों कि संख्या में समस्याएँ हो जाती हैं और व्यक्ति समझ ही नहीं पाता कि यह सब क्या हो रहा है | ध्यान रखें यदि नींद सही नहीं आ रही तो उसे नजरंदाज न करें यह डिप्रेशन जैसी गंभीर बीमारी का एक लक्षण हो सकता है | 

 डिप्रेशन से होता है गंभीर नुकसान: 

डिप्रेशन से नुकसान कई हैं और विकराल हैं। इसलिए समय पर डिप्रेशन को रोकना बहुत ही जरुरी है। अगर समय रहते डिप्रेशन को न रोका जाये तो यह शरीर को काफी हानि पहुँचा सकता है। इसकी वजह है डिप्रेशन का मरीज समझ ही नहीं पाता कि वह क्या कर रहा है और वह कभी-कभी गलत कदम उठा लेता है। 

माइग्रेन का कारण भी है डिप्रेशन: 

डिप्रेशन के नुकसान बहुत हैं अगर व्यक्ति डिप्रेशन का शिकार होता है तो उसके आधे सिर में दर्द बना रहता है और इस दर्द के साथ कई बार व्यक्ति को घबराहट होती है और उल्टियाँ भी होती है। यह साधारण दर्द नहीं होता यह माइग्रेन के लक्षण होते हैं। माइग्रेन अत्यधिक तनाव और डिप्रेशन के कारण होता है। 



कोमा में भी जा सकता है डिप्रेशन का मरीज : 

कभी-कभी इंसान के दिमाग पर अंदरूनी चोट लगती है जिसके कारण वह डिप्रेशन का शिकार हो जाता है और वह कोमा में भी जा सकता है। यह बहुत दर्दनाक स्थिति होती है इसमें व्यक्ति का दिमाग तो काम करता है लेकिन शरीर काम करना बंद कर देता है। और व्यक्ति सब कुछ सुनने और समझने में सक्षम होता है लेकिन बोलने में सक्षम नहीं होता। 

डिप्रेशन से आत्महत्या तक संभव : 

डिप्रेशन के मरीजों में अधितर यह देखा जाता है कि व्यक्ति आत्महत्या की कोशिश करता है। डिप्रेशन के दौरान व्यक्ति खुश रहना और खुद से प्यार करना छोड़ देता है और इस वजह से उसका दिमाग उल्टी सीधी सोच में डूबा रहता है। यही वजह होती है कि डिप्रेशन वाला व्यक्ति कई बार आत्महत्या कर लेता है और इस बारे में सोचता है। 

उदास रहना भी है डिप्रेशन : 

जब व्यक्ति डिप्रेशन में होता है तो उसके व्यवहार में सबसे बड़ा अंतर यही आता है कि वह उदास रहता है और किसी के साथ घुलता मिलता नहीं है। इस वजह से वह गंभीर रूप से और भी अधिक बीमार होने लगता है। उसकी अभिलाषाएँ कम होने लगती है। और वह दुनिया से दूर होने की कोशिश करने लगता है। 



भूलने की बीमारी का कारण भी डिप्रेशन का एक लक्षण है : 

जो व्यक्ति डिप्रेशन में होता है उसे अधिकतर कुछ याद नहीं रहता इसका मतलब उसे भूलने की बीमारी हो जाती है। और इस वजह से वह अपना आत्मविश्वास खोने लगता है। यह एक वजह भी होती है कि व्यक्ति कभी खुश नहीं हो पाता। और वह कई बार सोचता है कि उसके साथ ये क्या हो रहा है लेकिन उसे कुछ समझ नहीं आता। डिप्रेशन में ऐसी कई प्रकार की बीमारियाँ व्यक्ति को घेर लेती हैं। 

ये सभी डिप्रेशन के नुकसान हैं इनसे व्यक्ति स्वयं को कभी उभार नहीं पाता इसके लिए किसी ऐसे व्यक्ति की जरुरत होती है जो उसे समझता हो। इसके लिए वह कोशिश ही नहीं करता बहुत ही कम लोग ऐसे होते हैं जो इसके लिए कोशिश करते हैं और डिप्रेशन से स्वयं ही बाहर आते हैं। डिप्रेशन एक ऐसी बीमारी है जिससे कई प्रकार की मष्तिष्क से जुडी हुई समस्याएँ सामने आती हैं और कई बार हृदय से जुडी हुई समस्याएँ सामने आती है। डिप्रेशन का सीधा सम्बन्ध मष्तिष्क या हृदय से ही होता है और डिप्रेशन के कारण सबसे ज्यादा नुकसान भी इन्हें ही होता है। 


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डिप्रेशन तनाव की वजह से होता है इसलिए डिप्रेशन से बचने के लिए तनाव को नियंत्रण में लेना आवश्यक है। अगर तनाव को दूर करना है तो कई चीज़ें पर आपको ध्यान देना होगा जैसे:- 

संतुलित आहार लें। 

योग व मैडिटेशन करें। 

घूमने जाएँ। 

म्यूजिक सुनें। 

व्यक्ति में हर परेशानी से लड़ने की क्षमता होती है इसलिए कभी भी स्वयं को कमजोर नहीं समझना चाहिए। अगर आप स्वयं को कमजोर समझेंगे तो डिप्रेशन तो आपको घेरेगा ही, जिसके परिणाम नकारात्मक से नकारात्मक होते जायेंगे। इसलिए हमेशा तनाव को उतना ही लें जिससे वह अवसाद में परिवर्तित न हो। डिप्रेशन के कारण कई समस्याएँ होती है इसलिए इससे बचाव बहुत ही आवश्यक है और इससे बचाव के लिए सबसे पहले आपको तनाव को दूर करना होगा |



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